Ghaziabad accident: दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र में देर रात से हो रही तेज बारिश और आंधी ने भारी तबाही मचा दी। गाजियाबाद के लोनी इलाके में ACP अंकुर विहार के कार्यालय की छत अचानक भरभराकर गिर गई, जिसमें सब-इंस्पेक्टर वीरेंद्र मिश्रा दब गए। वे उस वक्त ऑफिस में पेशकार के पद पर तैनात थे और नींद में थे।
छत गिरने से वे मलबे के नीचे दब गए और गंभीर रूप से घायल हो गए। पुलिस और स्थानीय लोगों ने तुरंत उन्हें मलबे से बाहर निकाला और अस्पताल पहुंचाया, लेकिन डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। इस हादसे से पुलिस विभाग में हड़कंप मच गया है।
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मौसम विभाग ने जानकारी दी कि दिल्ली-एनसीआर में छह घंटे के भीतर 81.2 मिलीमीटर बारिश हुई और हवाओं की रफ्तार 82 किलोमीटर प्रति घंटे तक पहुंच गई। तेज हवा और बारिश के कारण कई जगह पेड़ और बिजली के खंभे गिर गए, जिससे जनजीवन प्रभावित हुआ।
Ghaziabad के अलावा फरीदाबाद में भी तेज बारिश से जलभराव की स्थिति बनी। स्मार्ट सिटी के कई इलाकों में पानी भर गया और जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया। बल्लभगढ़ में तेज आंधी के कारण कई बोर्ड गिर गए, जबकि सेक्टर 23 की एक घर की छत गिरने से कई लोग घायल हो गए। घायलों का इलाज बीके अस्पताल में किया जा रहा है। इसके अलावा तिगांव क्षेत्र में तीन भैंसों की आसमानी बिजली गिरने से मौत हो गई।
सैनिक कॉलोनी में स्थित शिव मंदिर में भी भारी बारिश के पानी का जमाव हुआ। जवाहर कॉलोनी के 60 फीट रोड और ओल्ड फरीदाबाद रेलवे अंडरपास में जलभराव की वजह से अंडरपास को कुछ समय के लिए बंद करना पड़ा था, जिसे बाद में खोल दिया गया।
पुलिस Ghaziabad ने सब-इंस्पेक्टर वीरेंद्र मिश्रा के शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है और मामले की जांच शुरू कर दी है। इस हादसे ने सरकारी भवनों की हालत पर सवाल खड़े कर दिए हैं, खासकर उन जगहों पर जहां जर्जर इमारतों में सरकारी कामकाज चलता है।
मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि आने वाले दिनों में भी तेज बारिश और आंधी की संभावना बनी हुई है। प्रशासन ने लोगों से सतर्क रहने और सुरक्षित स्थानों पर रहने की अपील की है। साथ ही सरकारी भवनों की सुरक्षा और मरम्मत को लेकर भी सतर्कता बढ़ाई गई है ताकि भविष्य में ऐसे हादसों को रोका जा सके।
यह घटना दर्शाती है कि मौसम की मार से बचने के लिए बेहतर पूर्व तैयारी और संरचनात्मक सुरक्षा कितनी महत्वपूर्ण है। सरकारी भवनों का समय-समय पर रखरखाव न होना भारी नुकसान और जान-माल के नुकसान का कारण बन सकता है। इस हादसे ने प्रशासन के समक्ष सुरक्षा के अहम मुद्दे को फिर से उभार दिया है।