Mayawati News: राहुल गांधी के सोमवार को महाराष्ट्र के परभणी दौरे पर बहुजन समाज पार्टी (BSP) की प्रमुख मायावती ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है। राहुल गांधी परभणी में हिंसा में मारे गए दो लोगों के परिजनों से मिलने पहुंचे थे। इस पर मायावती ने कांग्रेस और भाजपा दोनों को निशाने पर लिया और कहा कि ये दल बाबा साहेब डॉ. भीमराव अंबेडकर के प्रति सम्मान नहीं दिखाते। उनके अनुसार, इन पार्टियों का असल उद्देश्य दलित और पिछड़ा समाज के हितों का नहीं, बल्कि चुनावी स्वार्थ का है।
Mayawati ने सोशल मीडिया पर लिखा, “कांग्रेस और भाजपा जैसी पार्टियां बाबा साहेब के योगदान को नकारती हैं। इनकी नीति हमेशा जातिवाद से भरी रही है और इनका उद्देश्य केवल वोटों का भंडारण करना है, न कि दलितों और पिछड़ों का भला करना।” उन्होंने राहुल गांधी के परभणी दौरे को ‘घड़ियाली आंसू बहाने’ जैसा बताया, यह आरोप लगाते हुए कि कांग्रेस का रवैया बाबा साहेब के प्रति हमेशा तिरस्कारपूर्ण रहा है।
2. परभणी घटना को लेकर कांग्रेसी नेता का आज दौरा घड़ियाली आँसू, क्योंकि बाबा साहेब के जीतेजी व उनके देहान्त के बाद भी कांग्रेस का उनके व उनके अनुयाइयों के हित व कल्याण के प्रति रवैया हमेशा जातिवादी व तिरस्कारी रहा है। इनको दलित-पिछड़ों की याद केवल इनके बुरे वक्त में आती है।
— Mayawati (@Mayawati) December 23, 2024
दलितों के लिए इन दलों की नीति संदिग्ध
Mayawati ने कहा, “परभणी जैसी घटनाएं भारतीय संविधान के निर्माता डॉ. भीमराव अंबेडकर के अपमान और उनके अनुयायियों के प्रति हीन भावना का नतीजा हैं। यह साफ तौर पर दर्शाता है कि कांग्रेस और भाजपा दोनों ही कभी भी सच्चे तरीके से दलितों के हितों की रक्षा नहीं कर सकते।” उनका कहना था कि इन पार्टियों को दलितों की याद सिर्फ चुनावी समय में आती है और उनका रवैया कभी ईमानदार नहीं होता।
4. बीएसपी का अम्बेडकरवादी आत्म-सम्मान का मूवमेन्ट ’बहुजन समाज’ को वोट के माध्यम से शासक वर्ग बनाने का राजनीतिक मिशन है जबकि दूसरी पार्टियाँ केवल इनके वोटों के स्वार्थ की खातिर अम्बेडकरवादी होने का ढोंग करती रहती हैं। दलित/बहुजन के हितों में इनके मुंह में राम बगल में छुरी जैसा है।
— Mayawati (@Mayawati) December 23, 2024
बीएसपी की अपील
Mayawati ने केंद्रीय गृहमंत्री से संसद में डॉ. अंबेडकर के खिलाफ की गई टिप्पणियों को वापस लेने की मांग की। उन्होंने बीएसपी द्वारा 12 दिसंबर को देशभर में शांतिपूर्ण धरने-प्रदर्शनों का आयोजन करने की अपील की। मायावती ने कहा कि बीएसपी का उद्देश्य बहुजन समाज को राजनीतिक शक्ति देना है, जबकि अन्य दल केवल अपने चुनावी स्वार्थ के लिए बाबा साहेब के नाम का इस्तेमाल करते हैं।
बाबासाहेब की प्रतिमा का अपमान
परभणी में 10 दिसंबर को डॉ. बाबासाहेब अंबेडकर की प्रतिमा और संविधान की प्रतिकृति को नुकसान पहुंचाया गया था, जिसके बाद हिंसा भड़क उठी। यह घटना मराठवाड़ा क्षेत्र में दलित समाज के बीच गहरी नाराजगी का कारण बनी है, और इसने प्रदेशभर में राजनीतिक बहस छेड़ दी है।