Online Food: अगर आप भी ऑनलाइन खाना ऑर्डर करते हैं तो यह खबर आपके लिए ही है। एक सर्वे में पता चला है कि ऑनलाइन फूड डिलीवरी ऐप 60 फीसदी तक महंगा खाना देते हैं।
आजकल ऑनलाइन खाना ऑर्डर करने का चलन बहुत बढ़ गया है। लोग घर बैठे स्विगी और जोमैटो जैसे ऐप से खाना मंगवाते हैं। लेकिन ऑनलाइन फूड डिलीवरी ऐप्स को खाना और मिठाई ऑर्डर करने के लिए आपसे 10 से 60 प्रतिशत अतिरिक्त चार्ज करना पड़ता है। हाल ही में हुए एक सर्वे में यह बात सामने आई है।
ऑनलाइन खाना बहुत महंगा है
अंतरराष्ट्रीय संगठन जेफरीज ने यह सर्वे किया है। इसके लिए जेफरीज ने राजधानी दिल्ली समेत देश के 8 शहरों के 80 रेस्टोरेंट में यह सर्वे किया। सर्वे रिपोर्ट के मुताबिक कमीशन और प्रमोशन की बढ़ती लागत के चलते ऐप और रेस्टोरेंट के मेन्यू रेट में भारी अंतर है। रेस्टोरेंट में जो डिश सिर्फ 100 रुपये में मिलती है, उसके ऑनलाइन ऐप में 110 से 160 रुपये तक चार्ज किए जाते हैं।
महंगे खाने के पीछे ये हैं तीन वजहें
फूड डिलीवरी ऐप्स में महंगे खाने के पीछे तीन बड़े कारण हैं। कमीशन, इन-ऐप विज्ञापन और ग्राहक वितरण शुल्क। अधिकांश रेस्तरां पैकिंग शुल्क लेते हैं। यह कुल बिल का 4 से 5 प्रतिशत तक होता है। वहीं, ग्राहकों से ली जाने वाली कीमत का 13 फीसदी तक डिलीवरी चार्ज भी लगता है। इसके अलावा रेस्टोरेंट फूड डिलीवरी एप से कमीशन लेते हैं। इन तीन वजहों से हो जाता है ऑनलाइन खाना महंगा
8 शहरों के 80 रेस्टोरेंट में किया गया सर्वे
गौरतलब है कि जेफरीज ने भारत के 8 बड़े शहरों में 80 रेस्टोरेंट का सर्वे किया था। इस सर्वे के दौरान खाने-पीने की ऑनलाइन और ऑफलाइन कीमतों की तुलना की गई। इस सर्वे के लिए जेफ्रिन ने 120 रुपये से लेकर 2800 रुपये तक के 240 ऑर्डर किए। ये ऑर्डर अलग-अलग रेस्टोरेंट से लाए गए थे। सर्वेक्षण में 80% रेस्तरां में ऑनलाइन और ऑफलाइन व्यंजनों की कीमतों में भारी अंतर दिखाई दिया।