Lucknow Vigyan Path: उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ के लिए एक महत्वपूर्ण विकास परियोजना शुरू होने जा रही है। लखनऊ विकास प्राधिकरण (एलडीए) एक महत्वाकांक्षी छह-लेन एक्सप्रेस-वे का निर्माण कर रहा है, जिसे ‘विज्ञान पथ’ नाम दिया गया है। यह 250 किलोमीटर लंबा पथ लखनऊ को पाँच पड़ोसी जिलों—हरदोई, सीतापुर, बाराबंकी, रायबरेली, और उन्नाव—से सीधे जोड़ेगा। इस पहल का मुख्य उद्देश्य क्षेत्रीय कनेक्टिविटी में सुधार लाना और राजधानी की यातायात व्यवस्था को सुगम बनाना है।
‘विज्ञान पथ’ परियोजना को राज्य राजधानी क्षेत्र (एससीआर) की विस्तृत परियोजना रिपोर्ट (डीपीआर) में शामिल किया जा रहा है, जिसका मॉडल राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) की तर्ज पर विकसित किया गया है। वर्तमान में, इन जिलों से लखनऊ पहुंचने में जाम और संकरी सड़कों के कारण घंटों का समय बर्बाद होता है। इस नए छह-लेन वाले राजमार्ग के बन जाने से यह यात्रा समय लगभग आधा हो जाएगा, जिससे इन सभी जिलों से राजधानी तक मात्र 60 से 75 मिनट में पहुंचा जा सकेगा। यह राहगीरों को भारी जाम से भी बड़ी राहत देगा।
विकास का गलियारा और आर्थिक उछाल
यह ‘विज्ञान पथ’ सिर्फ एक सड़क नहीं है; यह क्षेत्रीय विकास के लिए एक नई रीढ़ साबित होने जा रहा है। एलडीए के मुख्य नगर नियोजक के अनुसार, इस पथ को 2027 तक एससीआर का हिस्सा बना दिया जाएगा। इसके बनने से शहर की ट्रैफिक व्यवस्था में एक क्रांतिकारी बदलाव आएगा। भारी वाहन अब बाहरी परिधीय मार्ग से सीधे गुजर सकेंगे, जिससे राजधानी के मुख्य मार्गों पर जाम की समस्या काफी हद तक कम हो जाएगी।
परियोजना के तहत, इस कॉरिडोर के किनारे 20 विकास नोड भी प्रस्तावित हैं। इनमें औद्योगिक पार्क, शैक्षणिक संस्थान, स्वास्थ्य केंद्र और व्यावसायिक परिसर शामिल होंगे। यह व्यापक विकास आसपास के जिलों में निवेश और रोजगार के बड़े अवसर पैदा करेगा, जिससे लखनऊ और पड़ोसी क्षेत्रों की अर्थव्यवस्था को नई गति मिलेगी।
पूर्व प्रधानमंत्री को सम्मान: ‘जय विज्ञान’ की प्रेरणा
इस Lucknow राजमार्ग का नामकरण पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी को समर्पित किया गया है। उनके प्रसिद्ध नारे ‘जय जवान, जय किसान, जय विज्ञान’ से प्रेरणा लेकर इसे ‘विज्ञान पथ’ नाम दिया गया है, जो ‘विज्ञान, प्रगति और समृद्धि’ का मार्ग बनने की अपेक्षा रखता है।
Lucknow परियोजना के डिजाइन में पर्यावरण संरक्षण पर विशेष ध्यान दिया गया है। इसमें सोलर लाइटिंग और ग्रीन बेल्ट की विशेष व्यवस्थाएं शामिल होंगी, ताकि यह भविष्य में एक पर्यावरण-अनुकूल कॉरिडोर का उदाहरण बन सके।
Lucknow विकास प्राधिकरण इस परियोजना को राजधानी को ‘ग्लोबल सिटी’ बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम मान रहा है। ‘विज्ञान पथ’ क्षेत्रीय यातायात को आसान बनाने के साथ-साथ एससीआर मॉडल के तहत राजधानी की सीमाओं का विस्तार भी सुनिश्चित करेगा। इससे औद्योगिक गतिविधियों में तेजी आएगी, शिक्षा और स्वास्थ्य संस्थानों तक पहुंच आसान होगी, और कृषि उत्पादों के परिवहन में भी दक्षता बढ़ेगी।
