Mujahideen Army News: एटीएस ने फतेहपुर निवासी मोहम्मद रजा को केरल से गिरफ्तार किया है, जो पूरे देश में खून-खराबा फैलाने की योजना पर काम कर रहा था। रजा ने “Mujahideen Army” के नाम से संगठन खड़ा किया और इसे कई राज्यों में फैलाया। उसके नेटवर्क में 300 से अधिक युवा शामिल थे, जिनमें बीटेक, एमबीए और अन्य उच्च शिक्षित लोग भी थे। इन युवाओं को रजा ने भड़काऊ वीडियो और कट्टरपंथी विचारों के जरिए अपने मिशन में शामिल किया।
एटीएस और अन्य खुफिया एजेंसियों ने रजा और उसके साथियों के मोबाइल और लैपटॉप की फोरेंसिक जांच की। इससे कई डिलीट किए गए वीडियो, तस्वीरें और संदेश रिकवर किए गए, जो यह साबित कर रहे थे कि Mujahideen Army देशभर में हिंसा फैलाने की योजना बना रहा था। एजेंसी ने बताया कि रजा युवाओं को ऑनलाइन वीडियो और समूह चैट के माध्यम से प्रेरित करता था, ताकि वे उसके इशारों पर किसी भी हिंसक गतिविधि में शामिल हो सकें।
29 सितंबर को एटीएस ने अकमल रजा, सफील सलमानी, मोहम्मद तौसीफ और कासिम अली को गिरफ्तार किया था। इसके अगले दिन सरगना मोहम्मद रजा को केरल से हिरासत में लिया गया। उसके बयान और बरामद दस्तावेजों से पता चला कि वह देशविरोधी गतिविधियों में गहराई से लिप्त था और उसने अपने संगठन के लिए अलग-अलग राज्यों में नेटवर्क तैयार किया था।
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साथ ही, जांच में यह भी सामने आया कि संगठन को विदेशी फंडिंग मिलने की संभावना है। आरोपियों के खातों में नियमित अंतराल पर रकम जमा होती थी, जो अलग-अलग खातों से ट्रांसफर की जा रही थी। एटीएस इस मामले में और जानकारियां जुटा रही है और रिमांड पर पूछताछ में और भी तथ्य सामने आने की उम्मीद है।
एटीएस सूत्रों ने बताया कि रजा ने जानबूझकर पढ़े-लिखे युवाओं को शामिल किया ताकि किसी को उसके इरादों पर शक न हो। संगठन की शुरुआत केरल से हुई थी और धीरे-धीरे यह अन्य राज्यों तक फैल गया। एजेंसियां यह भी पता लगाने में लगी हैं कि क्या रजा का संबंध किसी अंतरराष्ट्रीय संगठन से था। फिलहाल, एजेंसी ने इस गिरफ्तारी को बड़ी सफलता बताया है और कहा है कि समय रहते इस साजिश का खुलासा कर देश को गंभीर तबाही से बचाया गया।
यह मामला देश में बढ़ते कट्टरपंथ और युवा भड़काने वाली गतिविधियों के खिलाफ एटीएस की सतर्कता को उजागर करता है और ऐसे संगठनों पर कड़ी नजर रखने की आवश्यकता को रेखांकित करता है।