Sanjay Nishad Holi statement: उत्तर प्रदेश के कैबिनेट मंत्री और निषाद पार्टी के प्रमुख संजय निषाद ने होली के अवसर पर सपा, कांग्रेस और बसपा पर तीखा प्रहार किया। फतेहपुर में दिए अपने बयान में उन्होंने कहा कि जिन्हें रंग से परेशानी है, वे देश छोड़कर चले जाएं। उन्होंने विपक्षी दलों पर निशाना साधते हुए कहा कि जो नेता सपा, बसपा और कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में शामिल हुए हैं, वे असल में “विभीषण” हैं।
विपक्षी नेताओं पर सीधा प्रहार
Sanjay Nishad ने आरोप लगाया कि ये नेता पहले अपने-अपने दलों में सत्ता का आनंद लेते थे और अब बीजेपी में सलाहकार बनकर मलाई खा रहे हैं। उन्होंने कहा कि ऐसे लोग सिर्फ अपने स्वार्थ के लिए पार्टियां बदलते हैं और बीजेपी की सीटें कम होने के लिए भी ये लोग जिम्मेदार हैं। उनका कहना था कि ये नेता अपनी पुरानी आदतें छोड़ने को तैयार नहीं हैं और बीजेपी को भी नुकसान पहुंचा रहे हैं।
18% मुसलमानों से मुकाबले का फॉर्मूला
चुनावी रणनीति के बारे में बात करते हुए संजय निषाद ने कहा कि बीजेपी को चुनाव जीतने के लिए 18 प्रतिशत मुसलमानों का मुकाबला करने के लिए 18 प्रतिशत निषाद समुदाय को संगठित करना होगा। उन्होंने अपने समुदाय को राम भक्त बताते हुए कहा कि निषाद समाज बीजेपी को पूरी तरह समर्थन देगा और पार्टी को मजबूत बनाएगा।
पत्रकारों की सुरक्षा की मांग
अपने बयान में Sanjay Nishad ने पत्रकारों की सुरक्षा के मुद्दे को भी उठाया। उन्होंने कहा कि लोकतंत्र में पत्रकारों की भूमिका बेहद अहम है और उनकी सुरक्षा को सुनिश्चित करना सरकार की जिम्मेदारी है। उन्होंने मीडिया कर्मियों के खिलाफ हो रही घटनाओं पर चिंता जताई और सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम करने की मांग की।
निषाद पार्टी की सशक्त भूमिका
संजय निषाद ने यह भी स्पष्ट किया कि निषाद पार्टी बीजेपी के साथ रहते हुए भी अपनी स्वतंत्र पहचान बनाए रखेगी। उन्होंने कहा कि पार्टी का उद्देश्य निषाद समाज को एकजुट करना और उसे राजनीतिक रूप से सशक्त बनाना है। उनका दावा था कि आगामी चुनाव में निषाद समाज बीजेपी को मजबूती प्रदान करेगा और विपक्षी दलों की साजिशें नाकाम होंगी।
संजय निषाद का यह बयान निश्चित रूप से उत्तर प्रदेश की राजनीति में नई बहस छेड़ सकता है और चुनावी समीकरणों को भी प्रभावित कर सकता है।