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Sunday, November 3, 2024
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High Rise Societies: नाम बड़े, दर्शन छोटे!

Report By: राहुल शर्मा-

आखिर क्यों मलीन बस्तियों की तरह दूषित पानी पी रहे लोग?

Ghaziabad(यूपी): अगर आप स्टेटस को मेंटेन करने के लिए और परिवार को तमाम हाईटेक सुविधाएं देने के लिए महंगी सोसायटी में मुंहमांगी कीमत पर फ्लेट खरीद रहे हैं, तो ये खबर आपके लिए बेहद जरूरी जरूरी है। इन High Rise Societies में मोटा मेंटिनेस चार्ज देकर आप ये मान रहे कि आप और आपका परिवार सुरक्षित है, तो ये महज आपका भ्रम है। क्योंकि आप मुंगेरी लाल के हसीन सपने की तरह ये सपना ही देख रहे हैं। आप सोच रहे होंगे कि ऐसा कैसे ?

तो आपको बता दें कि गाजियाबाद-नोएडा और ग्रेटर नोएडा में कुकुरमुत्तों की तरह बनी इन High Rise Societies में तमाम अत्याधुनिक सुविधाओं के सब्जबाग दिखाकर आपको लुभाया तो जाता है। एवज में मोटा मेंटिनेंस भी वसूला जाता है, मगर पीने के पानी जैसी मूलभूत सुविधा भी आपको नहीं मिलती। दावें जो भी किए जाते हों, मगर हकीकत कुछ और ही है। इस बात का खुलासा हुआ है जिले के चिकित्सा विभाग की पड़ताल में। चंद रोज पहले गाजियाबाद के राजनगर एक्सटेंशन की एक सोसायटी और अब ट्रांस हिंडन की ऋषभ क्लाउड-9 जैसी महंगी और High Rise Societies में ये लापरवाही और बेपरवाही उजागर हुई है।

ऋषभ क्लाउड-9 को लेकर स्वास्थ्य विभाग का खुलासा

वैशाली सेक्टर-1 में ऋषभ क्लाउड -9 सोसायटी है। इस सोसायटी में पीने के पानी की जिले के चिकित्सा विभाग की टीम ने नमूने लेकर जांच की। विभाग की टीम ने सोसायटी में अलग-अलग जगह से पानी के नमूने लिए। सभी दस नमूने जांच में फेल मिले। स्वास्थ्य विभाग की रिपोर्ट में बताया गया है कि पानी में गंदगी, ई-कोलाई बैक्टीरिया पाया गया है।

ऋषभ क्लाउड-9 के सभी टावर्स में जांच

मैनेजमेंट की इस लापरवाही को देकते हुए शनिवार को स्वास्थ्य विभाग की टीम ने सोसायटी के सभी टावरों से पानी के 18 नये सेंपलों को जांच के लिए लिया है। साथ ही मैनजमेंट को सख्त निर्देश दिए हैं कि पानी की गुणवत्ता के लिए जरूरी सभी नियमों का ध्यान रखें।

इसके पहले भी दो नमूने फेल हुए

जिला सर्विलांस अधिकारी डॉ.आरके गुप्ता के मुताबिक स्वास्थ्य विभाग को सोसायटी से दूषित पेयजल आपूर्ति की शिकायत मिली थी। शिकायत के आधार पर जांच में सोसायटी से पानी के दो नमूने लिए गए थे। जांच में दोनों नमूने फेल पाए गए थे। इस बात की जानकारी मैंटिनेंस टीम को दे दी गई थी।

दोबारा जांच में भी मिली लापरवाही

बीते बृहस्पतिवार को आईडीएसपी की यूनिट में शामिल अधिकारियों ने सोसायटी में भ्रमण किया। इस दौरान सोसायटी के ओवरहेड टैंक खुले पाए गए। इसके बाद दोबारा सोसायटी में अलग-अलग जगहों से 10 नमूने लिए गए। ये सभी सैंपल भी जांच में फेल पाए गए। डॉ.आरके गुप्ता के मुताबिक जांच में पानी में टीडीएस की मात्रा अधिक पाई गई है। इसके अलावा बैक्टीरिया भी पाए गए है। जो स्वास्थ्य के लिए बेहद हानिकारक है।

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मैनेजमेंट को दी गई है हिदायत

जिला सर्विलांस अधिकारी डॉ.आरके गुप्ता के मुताबिक सोसायटी मैनेजमेंट से शुद्ध पेयजल की सप्लाई, टैंकों की साफ-सफाई व रखरखाव संबंधित एवं शुद्ध पेयजल सप्लाई के निर्देश दिए गए। उन्हें बताया गया है कि पानी की ये स्थिति स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है।

मैनेजमेंट को जारी किया नोटिस

जिला सर्विलांस अधिकारी डॉ.आरके गुप्ता ने बाताया कि अब स्वास्थ्य विभाग की तरफ से सोसायटी मैनेजमेंट को नोटिस जारी किया जाएगा, ताकि तीसरी बार इस तरह की लापरवाही और बेपरवाही न हो।

पहले भी हो चुका है खुलासा

चंद रोज पहले ही गाजियाबाद के पॉश इलाके राजनगर एक्सटेंशन की KW Srishti Society में भी पीने के पानी की सप्लाई व्यवस्था में गड़बड़ी मिली थी।

स्वास्थ्य विभाग ने समय-समय पर मिलीं शिकायतों के आधार पर जांच की। एक दो नहीं बल्कि 52 नमूने लिए। सोसायटी से पानी के लिए गए सभी सैंपल जांच में फेल पाए गए। बिल्डर की ओर से पेयजल व्यवस्था में सुधार संबंधी कोई कार्य नहीं किया जा रहा था। बार-बार अवगत कराने पर भी जब कोई ध्यान नहीं दिया गया तो स्वास्थ्य विभाग ने नोटिस भी जारी कर दिए। लेकिन बिल्डर के कान पर जूं तक नहीं रेंगी। हालाकि स्वास्थ्य विभाग दावा कर रहा है कि मामले में प्रशासन से बिल्डर के खिलाफ कार्रवाई की संस्तुति की जा रही है, मगर कब तक व्यवस्था सुधरेगी औऱ लोगों को साफ पानी पीने को मिलेगा किसी को नहीं पता।

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