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Wednesday, February 12, 2025
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बसंत पंचमी के अमृत स्नान से मिलते हैं कई लाभ, 7 पीढ़ियों तक मिलती है शुद्धि

Maha Kumbh 2025: महाकुंभ का आखिरी और तीसरा अमृत स्नान आज बसंत पंचमी के दिन हो रहा है। इस दौरान संगम स्नान के लिए करोड़ों श्रद्धालुओं की भीड़ देखने को मिलती है। बता दें कि यह अमृत स्नान सुबह 4 बजे से चल रहा है। बताया जा रहा है कि अब तक 1.65 करोड़ श्रद्धालु संगम में डुबकी लगा चुके हैं। इस अमृत स्नान में सबसे पहले महानिर्वाणी अखाड़े के संतों ने भी स्नान किया है। इसके बाद अन्य अखाड़े स्नान कर रहे हैं। मान्यता है कि बसंत पंचमी के दिन अमृत स्नान करने से मनुष्य को मोक्ष की प्राप्ति होती है।

इस आर्टिकल में हम जानेंगे कि बसंत पंचमी के दिन अमृत स्नान से व्यक्ति को कौन से 5 लाभ मिलते हैं। मोक्ष हर साल बसंत पंचमी माघ शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को मनाई जाती है, लेकिन इस बार इसे महाकुंभ के साथ मनाया जा रहा है, ऐसे में मान्यता है कि इस दिन अमृत स्नान करने से व्यक्ति को मृत्यु के बाद मोक्ष की प्राप्ति होती है।

7 पीढ़ियों तक की शुद्धि

महाकुंभ का यह तीसरा और आखिरी अमृत स्नान है, ऐसे में इस दिन जो लोग गंगा में स्नान कर पाएंगे, उनके अलावा उनकी 7 पीढ़ियों की शुद्धि होगी।

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पितरों की आत्मा तृप्त

इस दिन पितरों की आत्मा तृप्त होती है और आत्मिक शांति का महत्व माना जाता है। मान्यता है कि इस दिन मां सरस्वती का अवतरण हुआ था। ऐसे में प्रयागराज के संगम तट पर अदृश्य सरस्वती स्वयं नदी के रूप में मौजूद हैं। मान्यता है कि यहां स्नान करने से व्यक्ति के पितरों की आत्मा तृप्त होती है और आत्मिक शांति मिलती है।

निरोग शरीर

इसके साथ ही व्यक्ति के शरीर को भी आरोग्यता प्राप्त होती है। मान्यता है कि कोई भी बीमारी उसके आस-पास भी नहीं भटकती।

ऊर्जा का संचार

इसके अलावा अमृत स्नान से व्यक्ति के शरीर में दिव्य ऊर्जा का संचार होता है।

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